मेडिकल पाठ्यक्रमों में प्रवेश के लिए आयोजित होने वाली राष्ट्रीय पात्रता एवं प्रवेश परीक्षा (नीट) में उच्चतम न्यायालय ने अधिकतम आयु सीमा तय करने के केंद्रीय माध्यमिक परीक्षा बोर्ड (सीबीएसई) के आदेश के खिलाफ दायर याचिका पर जहां केंद्र सरकार एवं भारतीय चिकित्सा परिषद (एमसीआई) को नोटिस जारी किया, वहीं एक अन्य याचिका पर परिणाम घोषित करने पर रोक लगाने से इन्कार कर दिया।
न्यायमूर्ति आदर्श कुमार गोयल एवं न्यायमूर्ति अशोक भूषण की अवकाशकालीन खंडपीठ ने कुछ छात्रों की याचिका को सुनवाई के लिए स्वीकार करते हुए केंद्र सरकार और एमसीआई के अलावा सीबीएसई को भी नोटिस जारी किये। न्यायालय ने इस मामले में दो जुलाई तक जवाब दाखिल करने का निर्देश दिया है। सीबीएसई ने मेडिकल में दाखिले के लिए सामान्य वर्ग के छात्रों के लिए अधिकतम आयु सीमा 25 वर्ष, जबकि आरक्षित श्रेणी के छात्रों के लिए 30 वर्ष तय की है।
इस बीच अवकाशकालीन खंडपीठ ने प्रश्नपत्रों में अनुवाद की गलती के मद्देनजर नीट परीक्षा रद्द करने और परिणाम पर रोक लगाने संबंधी गैर-सरकारी संगठन ‘संकल्प चैरिटेबल ट्रस्ट’ की याचिका ठुकरा दी।